केंद्र सरकार का बड़ा ऐलान किशोर न्याय देखरेख एवं संरक्षण अधिनियम 2015 में संशोधन के प्रस्ताव को मंजूरी

 

भारत “ईरान-रूस समुद्री सुरक्षा बेल्ट 2021” में शामिल हुआ।


भारत “ईरान-रूस समुद्री सुरक्षा बेल्ट 2021” में शामिल हो गया है, यह दो दिवसीय नौसैनिक अभ्यास है। यह अभ्यास हिंद महासागर के उत्तरी भाग में आयोजित किया जा रहा है।


 मुख्य बिंदु:

• इस अभ्यास में ईरानी सेना और इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स (IRGC) दोनों के नौसेना डिवीजन के बलों और जहाजों ने भाग लिया।
• रूसी नौसेना के कई जहाजों ने भी ड्रिल में भाग लिया।
• भारतीय नौसेना भी चयनित जहाजों के साथ अभ्यास में शामिल हो गई है।
• इस ड्रिल में चीनी नौसेना भी हिस्सा लेगी।
• यह 17,000 वर्ग किलोमीटर के क्षेत्र को कवर करेगा।
• इस नौसैनिक अभ्यास में अपहृत जहाजों की मुक्ति, एंटी-पाइरेसी ऑपरेशन और खोज एवं बचाव कार्यों सहित कई गतिविधियों को संचालित किया जायेगा।


▪️ इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स (IRGC) :

यह ईरानी सशस्त्र बलों की एक शाखा है। इस शाखा की स्थापना ईरानी क्रांति के बाद अप्रैल 1979 में हुई थी। IRGC की स्थापना अयातुल्ला रूहुल्लाह खुमैनी के आदेश से हुई थी। यह ईरानी सीमाओं की रक्षा करता है और आंतरिक व्यवस्था को बनाए रखता है। ईरानी संविधान ने रिवोल्यूशनरी गार्ड को देश की इस्लामी गणतंत्रीय राजनीतिक व्यवस्था की रक्षा करने के काम के साथ काम सौंपा है।  रिवोल्यूशनरी गार्ड्स में 2011 तक 2,50,000 सैन्य कर्मी थे। इसमें जमीनी बल, एयरोस्पेस फोर्स और नौसेना बल शामिल हैं।


▪️ अरब की खाड़ी :

यह पश्चिम एशिया में भूमध्य सागर है। यह खाड़ी हिंद महासागर का एक विस्तार है। यह ओमान की खाड़ी और होर्मुज के जलडमरूमध्य के माध्यम से विस्तारित है। यह जल निकाय उत्तर-पूर्व में ईरान और दक्षिण-पश्चिम में अरब प्रायद्वीप के बीच स्थित है।

 किशोर न्याय अधिनियम, 2015 में संशोधन को मंजूरी दी गयी।

केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 17 फरवरी, 2021 को किशोर न्याय देखभाल और बच्चों के संरक्षण अधिनियम, 2015 में संशोधन को मंजूरी दे दी है।


मुख्य बिंदु:

• इस संशोधन का प्रस्ताव है कि डीएम और एडीएम उन एजेंसियों के कामकाज की निगरानी करेंगे जो प्रत्येक जिले में इस अधिनियम को लागू कर रही हैं।
• इस संशोधन के बाद, जिलों की बाल संरक्षण इकाई जिला मजिस्ट्रेट (डीएम) के अधीन कार्य करेगी।
• अब, डीएम स्वतंत्र रूप से बाल कल्याण समिति, और विशिष्ट किशोर पुलिस इकाई का मूल्यांकन कर सकते हैं।
• वह चाइल्ड केयर इंस्टीट्यूट की क्षमता और पृष्ठभूमि की जांच कर सकता है, जिसके बाद पंजीकरण के लिए उनकी सिफारिश की जाएगी।
• यह संशोधन जुवेनाइल जस्टिस एक्ट की धारा 61 के अनुसार गोद लेने के आदेश जारी करने के लिए जिला मजिस्ट्रेट और अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट को अधिकृत करते हैं।
• यह अब मामलों के त्वरित निपटान को सुनिश्चित करेगा और जवाबदेही को भी बढ़ाएगा।
• यह संशोधन जिलाधिकारियों को इसके सुचारू क्रियान्वयन को सुनिश्चित करने के लिए सशक्त बनाता है।

▪️ किशोर न्याय (बच्चों की देखभाल और संरक्षण) अधिनियम, 2015 


भारत की संसद द्वारा किशोर न्याय कानून (बच्चों की देखभाल और संरक्षण) अधिनियम, 2000 को प्रतिस्थापित करके यह अधिनियम पारित किया गया था। यह अधिनियम उन किशोरियों पर वयस्कों की तरह मुकद्दमा चलाने की अनुमति देता है, जिनकी उम्र 16 से 18 वर्ष है जो जघन्य अपराध में शामिल हैं। यह भारत में सार्वभौमिक रूप से सुलभ दत्तक कानून बनाने का भी प्रयास करता है। यह अधिनियम 2016 में लागू हुआ था। अनाथ, परित्यक्त और आत्मसमर्पित बच्चों के लिए प्रक्रियाओं को सुचारू बनाने के लिए केंद्रीय दत्तक ग्रहण संसाधन प्राधिकरण (CARA) को वैधानिक निकाय का दर्जा दिया गया था।


▪️ केंद्रीय दत्तक ग्रहण संसाधन प्राधिकरण (Central Adoption Resource Authority–CARA) :


यह महिला और बाल विकास मंत्रालय के तहत एक स्वायत्त और वैधानिक निकाय है। यह 1990 में स्थापित किया गया था। CARA भारतीय बच्चों को गोद लेने का नोडल निकाय है। यह देश और अंतर-देश गोद लेने की निगरानी और विनियमन भी करता है।


 असम : प्रधानमंत्री ‘महाबाहु-ब्रह्मपुत्र’ पहल लांच करेंगे।


  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 18 फरवरी, 2021 को असम में ‘महाबाहु-ब्रह्मपुत्र’ पहल को लांच करेंगे।


 मुख्य बिंदु:

• वह धुबरी फूलबाड़ी पुल की आधारशिला रखेंगे।
• पीएम असम में माजुली पुल के निर्माण के लिए भूमिपूजन भी करेंगे।


▪️ महाबाहु-ब्रह्मपुत्र पहल :


• महाबाहु-ब्रह्मपुत्र पहल की शुरूआत रो-पैक्स वेसल ऑपरेशन के उद्घाटन के साथ की जाएगी।
• रो-पैक्स वेसल ऑपरेशन को नीमाटीघाट और माजुली, धुबरी-हाटसिंगमारी और उत्तर-दक्षिण गुवाहाटी के बीच लॉन्च किया जाएगा।
• इस पहल में जोगीगोपा में अंतर्देशीय जल परिवहन टर्मिनल का उद्घाटन भी शामिल है।
• इस दौरान राज्य भर में नदी पर्यटन और रोजगार को बढ़ावा देने के लिए चार स्थानों पर विभिन्न पर्यटन घाटों के भी किया जाएगा।
• यह पहल भारत के पूर्वी हिस्सों को निर्बाध कनेक्टिविटी प्रदान करने के उद्देश्य से शुरू की जा रही है।
• इसमें बराक और ब्रह्मपुत्र नदियों के पार रहने वाले लोगों के लिए विभिन्न विकास गतिविधियाँ शामिल हैं।


 रो-पैक्स सेवा :


महाबाहु-ब्रह्मपुत्र पहल के तहत राज्य में रो-पैक्स सेवाओं का शुभारंभ किया जाएगा। रो-पैक्स वेसल संचालन से यात्रा के समय को कम करने में मदद मिलेगी। इससे सड़क मार्ग से यात्रा की दूरी भी कम हो जाएगी।


▪️ धुबरी फूलबाड़ी पुल :


  • पीएम मोदी चार लेन के धुबरी फूलबाड़ी पुल का शिलान्यास भी करेंगे। इस पुल का निर्माण NH-127B पर किया जाएगा। यह पुल एनएच-27 पर श्रीरामपुर से शुरू होगा। यह मेघालय राज्य में NH-106 पर नोंगस्टोइन पर समाप्त होगा। इसका निर्माण असम में ब्रह्मपुत्र नदी पर किया जायेगा, यह असम के धुबरी को  और मेघालय के फूलबाड़ी, तुरा, रोंग्राम और रोंगजेंग से जोड़ेगा। इस परियोजना की कुल लागत 4997 करोड़ है।


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